जीवन में मौन का महत्व - Moral Story In Hindi - Storykunj
मौन रहना एक साधना है और सोच समझकर बोलना एक कला। यह स्टोरी इंसान के जीवन में मौन का क्या महत्व है। उसके बारे में है।
एक बार की बात है एक मछलीमार कांटा डाले तालाब के किनारे काफी समय से बैठा था। लेकिन जब इतना समय बीतने के बाद भी उसके कांटे में एक भी मछली नहीं फंसी। तो वह सोचने लगा कि कहीं ऐसा तो नहीं मैंने कांटा गलत जगह डाला है। यहां कोई मछली ही ना हो। यहां पर मछलियों की कोई हलचल भी तो नहीं है।
उसने तालाब में झांका तो देखा कि उसके कांटे के आस - पास तो बहुत सी मछलियां थी। उसे बहुत आश्चर्य हुआ कि इतनी सारी मछलियां होने के बावजूद कोई भी मछली कांटे में क्यों नहीं फंसी ?
ऐसा कैसे हो सकता है? मछलीमार ने सोचा !
उसी समय एक राहगीर वहां से गुजर रहा था। उसने जब यह नजारा देखा तो उससे कहा ! ऐसा लगता है भाई तुम यहां पर मछली मारने बहुत दिनों बाद आए हो। क्योंकि अब इस तालाब की मछलियां कांटे में नहीं फंसती।
मछलीमार ने हैरत से पूछा क्यों, ऐसा क्या है यहां ?
इस पर राहगीर ने मछलीमार को बताया कि पिछले दिनों तालाब के किनारे एक बहुत बड़े संत महात्मा ठहरे थे। उन्होंने यहां मौन की महत्ता पर प्रवचन दिया था। उनकी वाणी में इतना तेज था कि जब वह प्रवचन देते थे तो तालाब की सारी मछलियां बड़े ही ध्यान से सुनती थी। यह उनके प्रवचनो का ही असर है। जब भी कोई उन्हें फंसाने के लिए कांटा डाल कर बैठता है या कांटा डालकर फांसने की कोशिश करता है तो यह मौन धारण कर लेती हैं। और जब मछलियां मुंह खोलेंगी ही नहीं तो कांटे में फंसेगी कैसे ?
इसलिए भाई बेहतर यही होगा कि आप कहीं और जाकर कांटा डालो।
परमात्मा ने हर इंसान को दो आंख, दो कान, दो नासिका, हर इंद्रिय दो - दो ही प्रदान किया है। परंतु जुबान एक ही दी।
क्या कारण रहा होगा?
क्योंकि यह एक ही अनेकों भयंकर परिस्थितियां पैदा करने के लिए पर्याप्त है।
संत महात्मा ने कितनी सही बात कही है कि जब मुंह खोलोगे ही नहीं तो फिर फंसोगे कैसे ?
अगर इंद्रियों पर संयम करना चाहते हो तो इस जिह्वा पर नियंत्रण कर लें। जुबान पर नियंत्रण होगा तो बाकी सब इंद्रियां स्वयं ही नियंत्रित रहेंगी। यह बात हमें भी अपने जीवन में उतार लेनी चाहिए।
Moral :- इस स्टोरी से हमें सीख मिलती है कि कोई भी बात सोच समझकर बोलनी चाहिए। गलत शब्दों का प्रयोग करने से हमेशा मुसीबत में फंसते हैं। अगर हम जुबान पर नियंत्रण कर ले तो मछलियों की तरह मुसीबत में फंसने से बच जाएंगे।
अगर आपको यह Story पसंद आई हो तो अपने Friends को भी Share कीजिए। और Comment में बताइए कि आपको कैसी लगी यह Story
No comments: